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पहले गले मिले और फिर भिड़ गए चाचा-भतीजा, हाथापाई की नौबत आई

रविवार के बाद सोमवार का दिन भी समाजवादी पार्टी और यादव परिवार के लिए उठापटक से भरा रहा. सोमवार को हुई अहम बैठक में मुलायम सिंह यादव, अखिलेश यादव और शिवपाल यादव ने अपनी-अपनी बात रखी. बैठक के बाद मुलायम सिंह ने अखिलेश से कहा कि शिवपाल तुम्हारे चाचा हैं, गले लगो. बाद में दोनों ने एक-दूसरे को गले लगाया. हालांकि इसके तुरंत बाद ही दोनों के बीच हाथापाई की भी नौबत आ गई.

चश्मदीद के अनुसार, शिवपाल ने अखिलेश से माइक छीन लिया. शिवपाल ने अखिलेश से कहा कि क्यों झूठ बोलते हो? दोनों के बीच तीखी बहस हुई. सुरक्षाकर्मियों ने दोनों को अलग किया. दरअसल, जब मंच पर मुलायम सिंह ने आशु मलिक को बुलाया तो अखिलेश भड़क गए और उसे धक्का दे दिया और माइक हाथ में लेकर कहा कि इस इंसान ने उनके खिलाफ साजिश की. उन्होंने कहा कि आशु मलिक ने लेटर लिखा और अमर सिंह की मदद से एक अंग्रेजी अखबार में पब्लिश करवा दिया, जिसमें मुझे औरंगजेब बताया गया.

इसके बाद शिवपाल अखिलेश के करीब आए और दोनों ने आक्रामक तरीके से एक दूसरे को छुआ. इसके बाद कार्यक्रम को तय समय से पहले बंद करना पड़ा. इस बीच अखिलेश सर्मथकों ने नारेबाजी की.

अखिलेश पर शिवपाल के गंभीर आरोप
बैठक में अखिलेश पर आरोप लगाते हुए शिवपाल ने कहा कि अखिलेश अलग पार्टी बनाना चाहते थे. ये बात मैं अपने बेटे की कसम खाकर कहता हूं. मैं गंगा जल हाथ में लेने को तैयार हूं. अखिलेश ने दूसरी पार्टी के साथ मिलकर चुनाव लड़ने को कहा. पार्टी में रामगोपाल यादव की दलाली नहीं चलेगी. अमर सिंह का पक्ष लेते हुए शिवपाल ने कहा कि 2003 में अमर सिंह की मदद से सरकार बनी थी. सपा में वहीं लोग रहेंगे, जो ईमानदार हैं. मुख्तार अंसारी का नाम लेकर मुझे बदनाम किया गया. शिवपाल ने कहा कि यूपी का नेतृत्व नेताजी संभालें. मुझे पार्टी चलाने की छूट मिले.

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