SC ने पूछा- राम का जनà¥à¤®à¤¸à¥à¤¥à¤¾à¤¨ कहां? वकील बोले- बाबरी मसà¥à¤œà¤¿à¤¦ के गà¥à¤‚बद के नीचे
अयोधà¥à¤¯à¤¾ के रामजनà¥à¤®à¤à¥‚मि-बाबरी मसà¥à¤œà¤¿à¤¦ विवाद पर आज à¤à¥€ सà¥à¤ªà¥à¤°à¥€à¤® कोरà¥à¤Ÿ में सà¥à¤¨à¤µà¤¾à¤ˆ चल रही है. इस मामले में चीफ जसà¥à¤Ÿà¤¿à¤¸ रंजन गोगोई की अगà¥à¤µà¤¾à¤ˆ में 5 जजों की पीठरोजाना सà¥à¤¨à¤µà¤¾à¤ˆ कर रही है, जिसमें हफà¥à¤¤à¥‡ में पांच दिन ये मामला सà¥à¤¨à¤¾ जा रहा है. शà¥à¤•à¥à¤°à¤µà¤¾à¤° को इस मामले की आखिरी सà¥à¤¨à¤µà¤¾à¤ˆ में वकà¥à¤« बोरà¥à¤¡ की तरफ से 5 दिन तक सà¥à¤¨à¤µà¤¾à¤ˆ का विरोध किया गया था, हालांकि अदालत ने इस विरोध को सà¥à¤µà¥€à¤•à¤¾à¤° नहीं किया. मंगलवार को à¤à¥€ रामलला के वकील ने अपनी दलीलें पेश की.
13.8.2019 की लाइव सà¥à¤¨à¤µà¤¾à¤ˆ
12.46 PM: सà¥à¤¨à¤µà¤¾à¤ˆ के दौरान सà¥à¤ªà¥à¤°à¥€à¤® कोरà¥à¤Ÿ ने पूछा कि रामलला का जनà¥à¤®à¤¸à¥à¤¥à¤¾à¤¨ कहां है? जिसपर रामलला के वकील वैदà¥à¤¯à¤¨à¤¾à¤¥à¤¨ ने कहा कि इलाहाबाद हाईकोरà¥à¤Ÿ ने बाबरी मसà¥à¤œà¤¿à¤¦ के मà¥à¤–à¥à¤¯ गà¥à¤‚बद के नीचे वाले सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ को à¤à¤—वान राम का जनà¥à¤®à¤¸à¥à¤¥à¤¾à¤¨ माना है.
12.30 PM: रामलला की तरफ से वरिषà¥à¤ वकील वैदà¥à¤¯à¤¨à¤¾à¤¥à¤¨ ने कहा कि 72 साल के मोहमà¥à¤®à¤¦ हाशिम ने गवाही में कहा था कि हिंदà¥à¤“ं के लिठअयोधà¥à¤¯à¤¾ उतना ही महतà¥à¤µ रखता है, जितना मà¥à¤¸à¤²à¤®à¤¾à¤¨à¥‹à¤‚ के लिठमकà¥à¤•à¤¾.
12.20 PM: रामलला की तरफ से वकील वैदà¥à¤¯à¤¨à¤¾à¤¥à¤¨ ने कहा है कि सà¥à¤ªà¥à¤°à¥€à¤® कोरà¥à¤Ÿ ने ही अपने à¤à¤• फैसले में कहा था कि मंदिर के लिठमूरà¥à¤¤à¤¿ होना जरूरी नहीं है. अब रामजनà¥à¤®à¤à¥‚मि को लेकर जो आसà¥à¤¥à¤¾ है, वह सà¤à¥€ शरà¥à¤¤à¥‹à¤‚ को पूरा करती है.
वकील वैदà¥à¤¯à¤¨à¤¾à¤¥à¤¨ ने मà¥à¤¸à¥à¤²à¤¿à¤® पकà¥à¤· की दलील को पà¥à¤¾ और कहा कि उनके पास कोई सबूत नहीं है कि उनके पास कबà¥à¤œà¤¾ है या कबà¥à¤œà¤¾ चला आ रहा है. उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने ये à¤à¥€ कहा कि अगर कोई सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ देवता है, तो फिर उसके लिठआसà¥à¤¥à¤¾ मानà¥à¤¯ होनी चाहिà¤.
इस पर जसà¥à¤Ÿà¤¿à¤¸ अशोक à¤à¥‚षण ने चितà¥à¤°à¤•à¥‚ट में कामदगिरी परिकà¥à¤°à¤®à¤¾ का जिकà¥à¤° किया. उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने कहा कि लोगों की आसà¥à¤¥à¤¾ और विशà¥à¤µà¤¾à¤¸ है कि वनवास जाते समय à¤à¤—वान राम, लकà¥à¤·à¥à¤®à¤£ और सीता ठहरे थे.
11.20 AM: अयोधà¥à¤¯à¤¾ मामले की सà¥à¤¨à¤µà¤¾à¤ˆ शà¥à¤°à¥‚ हो गई है. रामलला विराजमान की तरफ से के. परासरण ने कहा कि इस मामले को किसी तरह से टालना नहीं चाहिà¤, अगर किसी वकील ने ये केस हाथ में लिया है तो उसे पूरा करना चाहिà¤. बीच में कोई दूसरा केस नहीं लेना चाहिà¤. के. परासरण ने अपनी दलीलें पूरी कर दी हैं. अब रामलला की तरफ से à¤à¤¸. सी. वैदà¥à¤¯à¤¨à¤¾à¤¥à¤¨ अपनी दलील रख रहे हैं.
à¤à¤¸. सी. वैदà¥à¤¯à¤¨à¤¾à¤¥à¤¨ ने कहा कि मसà¥à¤œà¤¿à¤¦ से पहले उस सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ पर मंदिर था, इसका कोई सबूत नहीं है कि बाबर ने ही वो मसà¥à¤œà¤¿à¤¦ बनाई थी. मà¥à¤¸à¥à¤²à¤¿à¤® पकà¥à¤· ने दावा किया था कि उनके पास 438 साल से जमीन का अधिकार है, लेकिन हाईकोरà¥à¤Ÿ ने à¤à¥€ उनके इस तरà¥à¤• को मानने से इनकार कर दिया था.
9 अगसà¥à¤¤ को अयोधà¥à¤¯à¤¾ मामले पर पूरी बहस यहां कà¥à¤²à¤¿à¤• कर पढ़ें...
वकà¥à¤« बोरà¥à¤¡ ने किया था पांच दिन सà¥à¤¨à¤µà¤¾à¤ˆ का विरोध
मà¥à¤¸à¥à¤²à¤¿à¤® पकà¥à¤· की तरफ से वकील राजीव धवन ने à¤à¤• अपील की थी जिसमें उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने हफà¥à¤¤à¥‡ में पांच दिन तक सà¥à¤¨à¤µà¤¾à¤ˆ का विरोध किया था. राजीव धवन ने अदालत से कहा कि ये सिरà¥à¤« à¤à¤• हफà¥à¤¤à¥‡ का मामला नहीं है, बलà¥à¤•à¤¿ लंबे समय तक चलने वाला केस है. उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने कहा कि हमें दिन-रात अनà¥à¤µà¤¾à¤¦ के कागज पà¥à¤¨à¥‡ होते हैं और अनà¥à¤¯ तैयारियां करनी पड़ती हैं.
7 अगसà¥à¤¤ को अयोधà¥à¤¯à¤¾ मामले पर पूरी बहस यहां कà¥à¤²à¤¿à¤• कर पढ़ें...
हालांकि, चीफ जसà¥à¤Ÿà¤¿à¤¸ ने बाद में कह दिया था कि मामले की सà¥à¤¨à¤µà¤¾à¤ˆ इसी तरह चलती रहेगी और अगर राजीव धवन को कोई बà¥à¤°à¥‡à¤• चाहिठहोगा, तो उसपर विचार किया जाà¤à¤—ा. यानी इस मसले को सोमवार से शà¥à¤•à¥à¤°à¤µà¤¾à¤° तक सà¥à¤¨à¤¾ जाà¤à¤—ा.
8 अगसà¥à¤¤ को अयोधà¥à¤¯à¤¾ मामले पर पूरी बहस यहां कà¥à¤²à¤¿à¤• कर पढ़ें...
अगर अदालत की बात करें तो अà¤à¥€ तक निरà¥à¤®à¥‹à¤¹à¥€ अखाड़ा की तरफ से तरà¥à¤• रखे जा चà¥à¤•à¥‡ हैं और रामलला के वकील अपनी बात कर रहे हैं. रामलला की तरफ से वरिषà¥à¤ वकील के. परासरण अदालत में दलील रख रहे हैं.
6 अगसà¥à¤¤ को अयोधà¥à¤¯à¤¾ मामले पर पूरी बहस यहां कà¥à¤²à¤¿à¤• कर पढ़ें...
अà¤à¥€ तक इस मसले पर चार दिन सà¥à¤¨à¤µà¤¾à¤ˆ हà¥à¤ˆ है, जिसमें कई बार पौराणिक कथाओं, à¤à¤¤à¤¿à¤¹à¤¾à¤¸à¤¿à¤• तथà¥à¤¯à¥‹à¤‚ का जिकà¥à¤° आया है. वहीं जजों की तरफ से à¤à¥€ कई à¤à¤¸à¥‡ सवाल पूछे गठहैं, जो काफी बेसिक हैं लेकिन सà¥à¤¨à¤µà¤¾à¤ˆ के लिहाज से अहम हैं.
इस मामले की सà¥à¤¨à¤µà¤¾à¤ˆ CJI रंजन गोगोई की अधà¥à¤¯à¤•à¥à¤·à¤¤à¤¾ वाली 5 सदसà¥à¤¯à¥€à¤¯ संवैधानिक पीठकर रही है. इस पीठमें जसà¥à¤Ÿà¤¿à¤¸ à¤à¤¸. à¤. बोबडे, जसà¥à¤Ÿà¤¿à¤¸ डी. वाई. चंदà¥à¤°à¤šà¥‚ड़, जसà¥à¤Ÿà¤¿à¤¸ अशोक à¤à¥‚षण और जसà¥à¤Ÿà¤¿à¤¸ à¤à¤¸. à¤. नजीर à¤à¥€ शामिल हैं.