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400 रु. देकर नाबालिगों से वाहन चोरी करवाते थे, तीन गिरफ्तार :- 8 बाइक जब्त

शुजालपुर| 45 दिन की लंबी छानबीन व अलग-अलग स्थानों पर दी गई दबिश के बाद आखिरकार शुजालपुर पुलिस ने बाइक चोर गिरोह के तीन सदस्यों को गिरफ्तार कर लिया। आरोपियों से शुजालपुर से चुराई दो व अन्य स्थानों से चुराई छह बाइक भी बरामद कर ली है। चेसिस नंबर व नंबर प्लेट बदलकर बदमाश ये वाहन बिना दस्तावेज के 6 से 8 हजार रुपए में बेचकर गैंग चला रहे थे। बाइक चोरी का काम नाबालिग बच्चों से 400 रु. प्रति बाइक के मेहनताने पर करा रहे थे। जानकारी के मुताबिक राजगढ़ जिले में करीब दस साल पहले हुई लूट के मामले में 9 साल जेल की हवा खा चुके आरोपी दुर्गा को गिरोह का सरगना बताया जा रहा है। कालापीपल थाना क्षेत्र का मूल निवासी यह आरोपी पीलूखेड़ी में किराए के मकान में रहकर नाबालिगों से बाइक चोरी कराने का काम कराता था। हर बाइक पर बच्चों को 400 रुपए मेहनताना देता है। यह खुलासा 3 अगस्त को शुजालपुर की अंबिका नगर काॅलोनी में सुंदरम फाइनेंस कंपनी कार्यालय के सामने ब्रजेश कुमार सोनी की बाइक चुराते पकड़े गए पीलूखेड़ी निवासी नाबालिग ने पुलिस के सामने किया था। उसी को आधार बनाकर 20 सितंबर को पुलिस ने दबिश देकर घोड़ा पछाड़ इलाका थाना ब्यावरा से दुर्गा सहित तीन आरोपियों को पकड़ लिया। दो अलग-अलग तारीख में दबिश देकर पुलिस ने शुजालपुर से चोरी गई दो बाइक सहित चोरी की 6 अन्य बाइकों को भी जब्त कर लिया। इन वाहनों का उपयोग सागौन की तस्करी सहित अन्य अवैधानिक कामों में भी किया जाता था। पुलिस चौकी प्रभारी जितेंद्र जादौन ने कहा कि जांच की जारी है। कुछ आरोपी पुलिस के हाथ लगे हैं। जल्द ही बड़ा खुलासा होने की उम्मीद है। मास्टर चाबी से करते हैं चोरी- पुलिस के हत्थे चढ़े नाबालिग आरोपी के पास से तीन मास्टर चाबी और मोबाइल फोन जब्त हुआ है। जांच में सामने आया है कि चोरी की हर वारदात में मास्टर चाबी का उपयोग किया जाता था। चोरी किए वाहन दूसरे जिलों में औने-पौने दामों में बेचे देते थे। वाहन मालिक व जनता ने पकड़ा चोर तब हुआ खुलासा- चोरी के 8 वाहन जब्त कर तीन आरोपियों को पकड़ने के बाद स्थानीय पुलिस अफसर इसे अपनी उपलब्धि बताकर खुद की पीठ थपथपाने में लगे हैं। जबकि इस पूरे गिरोह के खुलासे में पुलिस का कोई अहम रोल नहीं रहा। 3 अगस्त को सरेआम पुलिस चौकी से 200 मीटर दूर बाइक चुरा रहे नाबालिग को बाइक मालिक ने पकड़कर पुलिस को सौंपा था।

गिरोह के मूल खुलासे को दबा रही पुलिस

पकड़े गए नाबालिग ने पुलिस को बताया था कि नाबालिगों से चोरी कराने की गैंग संचालित हो रही है, लेकिन पुलिस पूरे मामले को घुमाकर फाइल बंद करने की तैयारी में है। कितने नाबालिग पुलिस ने इस अपराध से दूर किए और इसके पीछे कौन से बड़े नाम थे, इनके बारे में पुलिस भी जानकारी छुपाने में लगी है। बाइक मालिक व जनता ने नाबालिग चोर को पकड़ा, इसके बाद ही पुलिस को चोर गिरोह को पकड़ने की राह मिली। शहर में हुई दो दर्जन से ज्यादा बड़ी चोरियों का कोई खुलासा नहीं हो पाया है।

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