विराट कोहली ने कहा, फैसले पर डटे रहना ही अचà¥à¤›à¥‡ कपà¥à¤¤à¤¾à¤¨ की निशानी
दो साल पहले à¤à¤¾à¤°à¤¤à¥€à¤¯ टेसà¥à¤Ÿ टीम की कमान संà¤à¤¾à¤²à¤¨à¥‡ वाले विराट कोहली का कपà¥à¤¤à¤¾à¤¨à¥€ का अब तक का रिकॉरà¥à¤¡ शानदार रहा है और उनका मानना है कि अचà¥à¤›à¥€ कपà¥à¤¤à¤¾à¤¨à¥€ की कà¥à¤‚जी साहसिक फैसले लेने और नतीजे की परवाह किये बिना उनका डटकर समरà¥à¤¥à¤¨ करने में है। कोहली की कपà¥à¤¤à¤¾à¤¨à¥€ में à¤à¤¾à¤°à¤¤ ने 16 में से नौ टेसà¥à¤Ÿ जीते और सिरà¥à¤« दो गंवाये जबकि पांच डà¥à¤°à¤¾ रहे। कपà¥à¤¤à¤¾à¤¨ के तौर पर अपनी सरजमीं पर वह à¤à¤• à¤à¥€ टेसà¥à¤Ÿ नहीं हारे हैं। कोहली हालांकि खà¥à¤¦ महेंदà¥à¤° सिंह धोनी की कपà¥à¤¤à¤¾à¤¨à¥€ के कायल हैं। उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने बीसीसीआई टीवी से कहा,‘कई बार फैसले लेना काफी कठिन होता है और इसके लिठकाफी हिमà¥à¤®à¤¤ चाहिठहोती है। मैंने धोनी से बहà¥à¤¤ कà¥à¤› सीखा है। आपके फैसले सही या गलत हो सकते हैं लेकिन उन पर डटे रहने के लिठसाहस चाहिठऔर यही कपà¥à¤¤à¤¾à¤¨ की निशानी है।’ उनका मानना है कि कपà¥à¤¤à¤¾à¤¨à¥€ की जिमà¥à¤®à¥‡à¤¦à¤¾à¤°à¥€ ने उनà¥à¤¹à¥‡à¤‚ बेहतर कà¥à¤°à¤¿à¤•à¥‡à¤Ÿà¤° बनाया है। उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने कहा,‘देश की टेसà¥à¤Ÿ टीम का कपà¥à¤¤à¤¾à¤¨ होना फखà¥à¤° की बात है । मà¥à¤à¥‡ इस पर गरà¥à¤µ है। मेरे लिठइससे बढ़कर कà¥à¤› नहीं। इस अतिरिकà¥à¤¤ जिमà¥à¤®à¥‡à¤¦à¤¾à¤°à¥€ से मà¥à¤à¥‡ बेहतर कà¥à¤°à¤¿à¤•à¥‡à¤Ÿà¤° बनने में मदद मिली।’
उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने कहा,‘मेरे लिठसफेद जरà¥à¤¸à¥€ पहनकर मैदान पर उतरना फखà¥à¤° की बात है। टेसà¥à¤Ÿ कà¥à¤°à¤¿à¤•à¥‡à¤Ÿ जैसी परीकà¥à¤·à¤¾ किसी और पà¥à¤°à¤¾à¤°à¥‚प में नहीं होती।’ कोहली की कपà¥à¤¤à¤¾à¤¨à¥€ में à¤à¤¾à¤°à¤¤à¥€à¤¯ टीम टेसà¥à¤Ÿ कà¥à¤°à¤¿à¤•à¥‡à¤Ÿ में नंबर à¤à¤• तक पहà¥à¤‚ची और उनका लकà¥à¤·à¥à¤¯ इस लय को कायम रखना है। उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने कहा,‘हम विशà¥à¤µ सà¥à¤¤à¤°à¥€à¤¯ टीम बनना चाहिठहै और हमारी टीम के हर खिलाड़ी के जेहन में यही है। आप किसी à¤à¥€ पà¥à¤°à¤¾à¤°à¥‚प में खेलें, आपका लकà¥à¤·à¥à¤¯ यही होता है।’ उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने कहा,‘टेसà¥à¤Ÿ टीम को अचà¥à¤›à¥‡ पà¥à¤°à¤¦à¤°à¥à¤¶à¤¨ के लिठपà¥à¤°à¥‡à¤°à¤¿à¤¤ करने में मà¥à¤à¥‡ गरà¥à¤µ महसूस होता है और मजा आता है। खà¥à¤¦ को आजमाने की यह चà¥à¤¨à¥Œà¤¤à¥€ है और पूरी टीम के साथ à¤à¤• लकà¥à¤·à¥à¤¯ की ओर हम बढ़ रहे हैं। इसमें कोई दबाव महसूस नहीं होता। महान खिलाड़ी बनने के लिये आपको à¤à¤• टीम के रूप में अचà¥à¤›à¤¾ खेलना होता है जिसके बाद ही निजी पà¥à¤°à¤¦à¤°à¥à¤¶à¤¨ मायने रखता है।’ उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने कहा,‘उतार चढ़ाव तो आà¤à¤‚गे जब आपको आलोचना और नकारातà¥à¤®à¤• चीजों का सामना à¤à¥€ करना पड़ेगा लेकिन इसी में असल परीकà¥à¤·à¤¾ होती है।’