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ईद पर अनंतनाग में पत्थरबाजी कर लहराए IS के झंडे

श्रीनगर। आज ईद है और कश्मीर में भी ईद की खुशियां फैली हुई हैं। लेकिन आतंकियों के समर्थक इस मुबारक मौके पर भी हिंसा करने से बाज नहीं आ रहे। जहां एक तरफ शनिवार को अनंतनाग में ईद की नमाज के बाद एक-दूसरे को मुबारक बात देने की बजाय पत्थरबाजी हुई और आतंकी संगठन आईएस के झंडे फहराए गए वहीं नौशेरा में पाकिस्तान ने संघर्ष विराम का उल्लंघन कर फायरिंग की जिसमें एक जवान शहीद हो गया।

जानकारी के अनुसार नमाज-ए-ईद के बाद विभिन्न जगहों पर राष्ट्रविरोधी नारे लगाते और आतंकी संगठनों के झंडे फहराते हुए शरारती तत्वों व पुलिस के बीच हिंसक झड़पाें में एक युवक की मौत हो गई। इस दौरान छह सुरक्षाकर्मियों समेत 15 लोग जख्मी भी हुए हैं।

हालांकि प्रशासन ने हिंसा की आशंका को देखते हुए पूरी वादी में सुरक्षा के कड़े प्रबंध कर रखे थे। सभी संवेदनशील इलाकों और धर्मस्थलों के आस-पास सुरक्षा व्यवस्था कड़ी की गई थी,लेकिन शरारती तत्वों के आगे यह बेअसर रही।

ग्रीष्मकालीन राजधानी श्रीनगर के ईदगाह, अनंतनाग के लालचौक व अशाजीपोरा और बराकपोरा, पुलवामा, उत्तरी कश्मीर के सोपोर और कुपवाड़ा में नमाज-ए-ईद के बाद राष्ट्रविरोधी हिंसक तत्वों पर काबू पाने के लिए पुलिस को लाठियों,आंसूगैस, मिची बम और पैलेट गन का भी सहारा लेना पड़ा।

अनंतनाग के जंगलात मंडी, लालचौक, चीनी चौक और अशाजीपोरा में कश्मीर की आजादी और निजाम ए मुस्तफा व मूसा मूसा के नारे लगाते युवकों ने नमाज के बाद जुलूस निकाला और वहां तैनात सुरक्षाकर्मियों पर पथराव करने लगे।

सुरक्षाबलों ने पहले तो संयम बनाए रखा,लेकिन जब स्थिति पूरी तरह बेकाबू होने लगी तो उन्होंने भी लाठियां और आंसूगैस का सहारा लिया। इस दौरान तीन सुरक्षाकर्मी और पांच पत्थरबाज जख्मी हो गए। घायल पत्थरबाजों में शामिल शिराज अहमद नायकू ने अस्पताल में दम तोड़ दिया। उसके सिर पर आंसूगैस का गोला लगा था।

लेकिन स्थानीय लोगों ने दावा किया है कि उसके सीने और चेहरे पर पैलेट लगे हैं। अलबत्ता, जिलाअस्पताल के मेडिकल सुपरिनटेंडेंट डा मजीद के मुताबिक, शिराज के शरीर पर कई चोटें थी और ज्यादा खून बहने से उसकी मौत हुई है। शिराज की मौत की खबर फैलने के साथ ही अनंतनाग के अन्य हिस्सों में भी हिंसक झड़पें शुरु हो गई।

वहीं दूसरी तरफ पाकिस्तान ने अल सुबह 4 बजे से ही नौशेरा सेक्टर में सीजफायर का उल्लंघन कर फायरिंग शुरू कर दी। इस फायरिंग में सेना का एक जवान शहीद हो गया है। इसकी पहचान सिपाही विकास गुरुंग के रूप में हुई है।

शुक्रवार को भी भड़की थी हिंसा

वहीं इससे पहले दक्षिण कश्मीर के पुलवामा में शुक्रवार को हिसक भीड़ ने सुरक्षाबलों को घेरकर हाथापाई करने के साथ जमकर पथराव किया। सुरक्षाबलों ने बलप्रयोग कर भीड़ को खदेड़ा। इस दौरान गोली लगने से एक पत्थरबाज की मौत और एक युवती समेत दो अन्य जख्मी हो गए। इसके बाद हिसक झड़पें शुरू हो गई, जिसमें दो सुरक्षाकर्मियों समेत सात लोग घायल हो गए। देर शाम तक पुलिस ने हिसा पर काबू पा लिया, लेकिन पूरे इलाके में तनाव बरकरार था।

जानकारी के अनुसार, सेना की 55 आरआर का एक दल नौपुरा पायीन इलाके से नियमित गश्त पर गुजर रहा था कि अचानक शरारती तत्वों की भीड़ ने उसे घेर लिया। भीड़ में शामिल शरारती तत्वों ने भड़काऊ नारेबाजी करते हुए जवानों पर पथराव शुरू कर दिया। जवानों ने पहले संयम बनाए रखा, लेकिन जब पथराव नहीं रुका और कुछ युवकों ने उनके वाहनों को चारों तरफ से घेर लिया तो उन्होंने भी बल प्रयोग किया।

इसी दौरान कुछ युवकों ने जवानों के साथ हाथापाई का प्रयास किया। स्थिति को पूरी तरह बेकाबू होते देख जवानों ने चेतावनी देते हुए हवा में गोलियां चलाई। बताया जा रहा है कि इस दौरान गोली लगने से युवती समेत तीन लोग जख्मी हो गए और फिर पूरे इलाके में हिसा भड़क उठी, जिसपर काबू पाने के लिए पुलिस को कड़ी मशक्कत करनी पड़ी।

इस बीच, गोली से जख्मी हुए तीनों लोगों को जिला अस्पताल पुलवामा ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने वकास अहमद राथर नामक घायल को श्रीनगर रेफर कर दिया। वकास की श्रीनगर अस्पताल पहुंचने से पहले ही रास्ते मे मौत हो गई। पुलवामा अस्पताल में अन्य दो घायलों में शामिल युवती का नाम रुकैया जान बताया जाता है। उसकी टांग में गोली लगी है।

एसएपी पुलवामा मोहम्मद असलम चौधरी ने नौपुरा पायीन में सुरक्षाबलों की ओर से हिसक भीड़ पर गोली चलाने से एक युवक की मौत की पुष्टि की। उन्होंने कहा कि गोली क्यों चली, इसकी छानबीन की जा रही है।

रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता कर्नल राजेश कालिया ने बताया कि सेना के जवानों का एक गश्तीदल नौपुरा पायीन से गुजर रहा था। वहां सड़क पर कुछ वाहन खड़े थे, जिससे सड़क बंद हो गई थी। सेना के जवान ने सड़क पर खड़े वाहनों के मालिकों से आग्रह कर अपना वाहन निकालने का प्रयास किया।

वहीं पास में आबिद मंजूर मागरे नामक एक ग्रामीण का मकान है। कुछ ही देर में वहां लोगों की नारेबाजी करती भीड़ जमा हो गई। इन लोगों ने जवानों पर पथराव शुरू कर दिया। जवानों ने इन लोगों को खदेड़ने के लिए चेतावनी देते हुए हवा में गोली चलाई। जवानों ने किसी ग्रामीण के साथ कोई मारपीट या किसी ग्रामीण के घर में घुसकर तोड़फोड़ नहीं की है।

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