अगर चलीं ये 4 बेटियां, तो खतà¥à¤® हो जाà¤à¤—ा 44 साल का सूखा
आईसीसी महिला वरà¥à¤²à¥à¤¡ कप 2017 में मिताली बà¥à¤°à¤¿à¤—ेड की नजरें इंगà¥à¤²à¥ˆà¤‚ड के खिलाफ खिताबी मà¥à¤•à¤¾à¤¬à¤²à¥‡ को जीत कर इतिहास रचने पर होंगी. यह फाइनल मà¥à¤•à¤¾à¤¬à¤²à¤¾ रविवार को कà¥à¤°à¤¿à¤•à¥‡à¤Ÿ के मकà¥à¤•à¤¾ ‘द लॉरà¥à¤¡à¥à¤¸’ में खेला जाà¤à¤—ा. à¤à¤¾à¤°à¤¤à¥€à¤¯ महिला टीम अगर यह मà¥à¤•à¤¾à¤¬à¤²à¤¾ जीत जाती है, तो महिला वरà¥à¤²à¥à¤¡ कप के 44 साल के इतिहास में वह पहली बार वरà¥à¤²à¥à¤¡ चैंपियन बनेगी. इसी के साथ ही टीम इंडिया की कपà¥à¤¤à¤¾à¤¨ मिताली राज के पास à¤à¤¾à¤°à¤¤à¥€à¤¯ कà¥à¤°à¤¿à¤•à¥‡à¤Ÿ (महिला और पà¥à¤°à¥à¤·) के इतिहास में कपिल देव और महेंदà¥à¤° सिंह धोनी के बाद वरà¥à¤²à¥à¤¡ चैंपियन कपà¥à¤¤à¤¾à¤¨ बनने का मौका है. कपिल देव ने à¤à¤¾à¤°à¤¤ को 1983 और महेंदà¥à¤° सिंह धोनी ने 2011 में वरà¥à¤²à¥à¤¡ चैंपियन बनाया था. अगर मिताली टीम इंडिया को चैंपियन बना देती हैं, तो इतिहास के सà¥à¤¨à¤¹à¤°à¥‡ पनà¥à¤¨à¥‹à¤‚ में उनका नाम दरà¥à¤œ हो जाà¤à¤—ा.